18 साल की थी जब घर छोड़ा, पुणे पहुंचकर बनाई नई पहचान, और शीला दावरे बन गयी देश की पहली ऑटो रिक्शा ड्राइवर

आज की औरते किसी से भी कम नहीं है। और अपने गुण और हुनर से उन्होंने खुद को हमेशा साबित किया है। और हर महिला समय समय पर अपने लिए स्वयं कदम उठाती है। हमने बहुत सी ऐसी महिलाओं के बारे में इतिहास की कहानियो में सुना है, जिन्होंने अपनी बहादुरी का परिचय दिया है। और सबसे अलग पहचान बनायीं है। हम भारत की पहली महिला प्रधानमंत्री इंदिरा गाँधी जी का नाम ले सकते है। और भारत की महिला डिटेक्टिव रजनी पंडित जी का भी उदाहरण हम समझ सकते है। और अंदाज़ा लगा सकते है कि महिलाए कितनी मजबूत होती है। और इसी सूचि में एक नाम आता है शीला दावरे जी का। जो कि भारत की पहली ऑटो चालक बन गयी है।

शीला दावरे का जन्म परभनी जिले में हुआ था।
शीला दावरे का जन्म परभनी जिले में हुआ था।

शीला दावरे ने18 की उम्र में छोड़ा घर

बता दे कि शीला दावरे का जन्म परभनी जिले में हुआ था। और 18 साल की उम्र में उन्हें किसी निजी कारण से घर छोड़ना पड़ गया था। और उनके सामने तब एक बड़ी चुनौती थी कि खुद को कैसे साबित करे ? और उस समय वो पहुंची पुणे में। और खर्चे की कोशिश में लग गयी। और स्वयं के लिए काम भी ढूंढ़ने लगी। लेकिन उस वक़्त 80 के दशक में सिर्फ पुरुष ही पुणे की सड़को पर ऑटो चलाते थे । और महिलाओं की स्तिथि कुछ खास नहीं थी। लेकिन शीला ने भी ठान लिया था।

शीला का नाम 1988 में 'लिम्‍का बुक ऑफ वर्ल्‍ड रिकार्ड्स' में भी दर्ज हो चुका है।
शीला का नाम 1988 में ‘लिम्‍का बुक ऑफ वर्ल्‍ड रिकार्ड्स’ में भी दर्ज हो चुका है।

बन गयी भारत की पहली महिला ऑटो रिक्शा ड्राइवर

जब शीला दावरे ने ऑटो रिक्शा चलाना शुरू किया था, तो बहुत से पुरुष उनका विरोध कर रहे थे। लेकिन शीला ने बहुत संघर्ष किया। और अपने हक़ के लिए लड़ाई की। जहाँ सभी पुरुष रोज़ की तरह ऑटो चलते थे, वही पर शीला भी सलवार कमीज पहने ऑटो चलाती थी। और वो बन गयी भारत की पहली महिला ऑटो रिक्शा ड्राइवर। और इस बात के लिए उनका सम्मान भी किया जाता है। और उनका नाम 1988 में ‘लिम्‍का बुक ऑफ वर्ल्‍ड रिकार्ड्स’ में भी दर्ज हो चुका है।

अब शीला पति के साथ मिलकर चलाती है ट्रेवल एजेंसी
अब शीला पति के साथ मिलकर चलाती है ट्रेवल एजेंसी

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पति के साथ मिलकर चलाती है ट्रेवल एजेंसी

जब शीला ऑटो रिक्शा चलाती थी, तो इस दौरान उनकी मुलाकात शिरीष से हुई। जिनसे शीला की शादी हो गयी थी। और दोनों उस वक़्त अलग अलग रिक्शा चलाते थे, लेकिन बाद में दोनों ने एक साथ मिलकर काम करने की सोची,और आज अपनी खुद की ट्रेवल एजेंसी चलाते है।

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